नेटवर्क टोपोलॉजी क्या है? (Network Topology) नेटवर्क टोपोलॉजी के प्रकार, विशेषताएं, सीमाएँ

नेटवर्क टोपोलॉजी क्या है (What is Network Topology in hindi) –

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कंप्यूटर नेटवर्क में कंप्यूटरों को आपस में जोड़ने के तरीके को टोपोलॉजी कहते हैं! किसी टोपोलॉजी के प्रत्येक कंप्यूटर नोड या लिंक स्टेशन कहलाते हैं! टोपोलॉजी को नेटवर्क की लेआउट या मैप कहा जा सकता है, जिसके माध्यम से यह दर्शाया जा सकता है कि नेटवर्क के विभिन्न नोड एक दूसरे से किस प्रकार कनेक्ट होंगे! टोपोलॉजी के द्वारा ही यह भी निर्धारित होता है, कि नेटवर्क में एक या एक से अधिक कंप्यूटर के बीच डाटा का ट्रांसफर किस प्रकार किया जाएगा! सामान्यता निम्न टोपोलॉजी को उपयोग कंप्यूटर नेटवर्क में किया जाता है! (Network Topology )

नेटवर्क टोपोलॉजी के प्रकार (Types Of  Network Topology in hindi) –

Network Topology निम्न प्रकार की होती है

(1) बस टोपोलॉजी क्या है (Bus Network Topology in hindi) – 

जब सभी स्टेशन एक सीधी पंक्ति में एक दूसरे से जुड़े हो तो ऐसी टोपोलॉजी बस टोपोलॉजी कहलाती है! यह कंप्यूटर नेटवर्क की सबसे प्रारंभिक एवं आसान टोपोलॉजी होती है इस टोपोलॉजी में  कम्युनल लाइन का उपयोग किया जाता है जिसे बस कहते हैं! इस लाइन के प्रारंभिक एवं अंतिम 2 बिंदु निर्धारित रहते हैं! जिन्हें टर्मिनेटेड पॉइंट कहा जाता है!

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी नेटवर्क टोपोलॉजीमें डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! 

बस टोपोलॉजी की विशेषताएं (Quality Of Bus Topology in hindi) – 

(1) इस टोपोलॉजी में किसी भी स्थान पर नोट को जोड़ना या कम करना आसान होता है! 

(2) एक सिंगल केबल का उपयोग होने के कारण बस टोपोलॉजी को इंस्टॉल करना आसान होता है! 


(3) अन्य टोपोलॉजी की तुलना में इस टोपोलॉजी में केवल का उपयोग कम होता है इस कारण से इसकी कीमत भी कम होती है! 

(4) यह एक फ्लैक्सिबल टोपोलॉजी है, जिसमें नेटवर्क की क्षमता को आसानी से कम या ज्यादा किया जा सकता है! 

बस टोपोलॉजी की सीमाएं (Limitations Of Bus Topology in hindi) – 

(1) इस टोपोलॉजी में डाटा का ट्रांसफर एक कॉमन केवल की सहायता से होता है जिसके कारण डाटा ट्रांसफर की स्पीड कम हो होती है! 
(2) इस टोपोलॉजी में नेटवर्क का उपयोग एक समय पर केवल दो कंप्यूटर द्वारा ही किया जा सकता है! 
(3) इस टोपोलॉजी में नेटवर्क उपयोग में लाए जाने वाले कंप्यूटर की संख्या, बस की डाटा ट्रांसफर क्षमता पर निर्भर करती है! 
(4) इस टोपोलॉजी में यदि बस केबल किसी कारण से काम करना बंद कर दे तो संपूर्ण टोपोलॉजी में नेटवर्क बंद हो जाता है! 

रिंग टोपोलॉजी क्या है (Ring Network Topology in hindi) – 

जब सभी कंप्यूटर आपस में वृत्ताकार रूप में एक दूसरे से जुड़े हो, तो इसे रिंग टोपोलॉजी कहा जाता है! या कंप्यूटर नेटवर्क में कम केबल का उपयोग करके एक और टोपोलॉजी उपयोग में लाई जाती है जिससे रिंग टोपोलॉजी कहते हैं! दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है!

जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

 इस टोपोलॉजी में प्रत्येक नोड के साथ एक द्वी-मार्गीय कनेक्टर उपयोग में लाया जाता है जिसमें एक I/P Port व एक O/P Port होता है! यहां Twisted Pair या Co-axial Cable के द्वारा एक कंप्यूटर से दूसरे कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! इस कनेक्शन में केबल को एक कंप्यूटर के O/P Port में एवं दूसरे कंप्यूटर के I/P Port में लगाया जाता है! (network Topology)

इसी प्रकार यह कनेक्शन दूसरे कंप्यूटर से अगले कंप्यूटर की और बढाएं जाते हैं! इस नेटवर्क को पूरा करने के लिए अंतिम नोट से केबल को पुनः प्रारंभिक नोट पर जोड़ा जाता है! इस प्रकार इस टोपोलॉजी में कंप्यूटर एक सर्कल के रूप में कनेक्ट कर दिए जाते हैं! इस कारण इस टोपोलॉजी को रिंग टोपोलॉजी कहां जाता है! रिंग टोपोलॉजी में डाटा ट्रांसफर के लिए टोकन पासिंग मेथड का उपयोग किया जाता है! Network Topology)

रिंग टोपोलॉजी की विशेषताएं (Quality Of Ring Topology in hindi) – 

(1) कॉमन केबल नहीं होने के कारण इस टोपोलॉजी में स्पेस का निर्धारण आसानी से किया जा सकता है! 
(2) रिंग टोपोलॉजी में अन्य सभी टोपोलॉजी की तुलना में कम केबल का उपयोग होता है! इस कारण से इसकी कीमत बहुत कम होती है! 
(3) यह टोपोलॉजी किसी कम नोड संख्या वाले कंप्यूटर के लिए अधिक उपयुक्त रहती है! 

रिंग टोपोलॉजी की सीमाएं (limitations Of Ring Topology in hindi) –

(1) रिंग टोपोलॉजी में किसी भी एक नोड के खराब हो जाने के कारण पूरा नेटवर्क बंद हो जाता है! 
(2) रिंग टोपोलॉजी में उपयोग में लाए जाने वाले द्वी-मार्गीय कनेक्टर का मेंटेनेंस अधिक कठिन होता है! 
(3) इस नेटवर्क में उपयोग में लाए जाने वाले सभी कंप्यूटर की प्रोसेसिंग क्षमता एक समान होना आवश्यक होता है! 

स्टार टोपोलॉजी क्या है (Star Network Topology in hindi) – 

जब कई कंप्यूटर सीधे एक केंद्रीय कंप्यूटर से जुड़े होते हैं तो इसे स्टार टोपोलॉजी कहा जाता है! वर्तमान समय में कंप्यूटर नेटवर्क सबसे अधिक उपयोग में लाए जाने वाले टोपोलॉजी स्टार टोपोलॉजी है! यह टोपोलॉजी point-to-point कनेक्शन पर आधारित होती है! जिसमें प्रत्येक होस्ट कंप्यूटर को नेटवर्क के अन्य सभी कंप्यूटर से जोड़ा जाता है!इस पॉइंट टू पॉइंट कनेक्शन को बनाने के लिए इस टोपोलॉजी में एक विषय डिवाइस का उपयोग किया जाता है इसे हब कहते हैं!( Network Topology )

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

हब एक ऐसी इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस होती है जिसमें बनाए गए सभी कनेक्शन पोर्ट के बीच स्वीच करते हैं! नेटवर्क के प्रत्येक नोड को केबल के माध्यम से जोड़ दिया जाता है! कनेक्शन बनने के बाद डाटा ट्रांसफर के लिए प्रत्येक नोड के बीच कनेक्शन बनाने की विधि हब द्वारा की जाती है! 

पॉइंट टू पॉइंट नेटवर्क होने के कारण एक समय पर नेटवर्क के दूसरे कंप्यूटर एक दूसरे से डाटा ट्रांसफर कर सकते हैं! इस कारण नेटवर्क पर डाटा ट्रांसफर की स्पीड निर्धारित रहती है! इस टोपोलॉजी में क्लाइंट सर्वर मॉडल को भी आसानी से बनाया जा सकता है! 

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

स्टार टोपोलॉजी की विशेषताएं (Quality Of Star Topology in hindi) – 

(1) इस नेटवर्क में किसी भी नए नोड को जोड़ना एवं रिमूव करना आसान होता है! 
(2) इस नेटवर्क की मेंटेनेंस कोस्ट बहुत कम होती है! 
(3) इस नेटवर्क में किसी भी नोड या केबल की खराबी को आसानी से पहचाना जा सकता है! 

स्टार टोपोलॉजी की सीमाएं (limitations of Star Topology in hindi) –

(1) इस नेटवर्क को एरिया के अनुसार बढ़ाने पर हब की क्षमता को बढाना होता है! 
(2) हब बंद हो जाने पर पूरा नेटवर्क एक साथ कार्य करना बंद कर देता है! 
(3) इस नेटवर्क में केबल का उपयोग अधिक होता है जिसके कारण से इसकी इंस्टॉलेशन कॉस्ट अधिक होती है! 

मेश टोपोलॉजी क्या है (Mesh Network Topology in hindi) – 

कंप्यूटर नेटवर्किंग यदि एक समान प्रोसेसिंग क्षमता वाले कंप्यूटरस को बहुत अधिक स्पीड पर एक दूसरे से कनेक्ट करना हो तब मेश टोपोलॉजी का उपयोग किया जाता है

इस टोपोलॉजी में सभी कंप्यूटर के बीच डायरेक्ट केबल के द्वारा point-to-point कनेक्शन बनाए जाते हैं, जिसमें नेटवर्क के सभी कंप्यूटर का अन्य सभी कंप्यूटर से एक डेडीकेटेड कनेक्शन होता है जिसका प्रयोग वह किसी भी समय डाटा ट्रांसफर के लिए कर सकता है!

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

मेश टोपोलॉजी में किसी विशेष हार्डवेयर की आवश्यकता नहीं होती है! इसे केवल केबल एवं कनेक्टर के द्वारा बनाया जा सकता है! दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

मेश टोपोलॉजी की विशेषताएं (Quality Of Mesh Topology in hindi) – 

(1) मेश टोपोलॉजी में प्रत्येक दो कंप्यूटर के बीच एक डेडीकेटेड लाइन होती है जिसके कारण से इस नेटवर्क में सबसे अधिक स्पीड से डाटा का ट्रांसफर किया जाता है! 
(2) सामान्यत: मेश टोपोलॉजी में लगभग सभी टोपोलॉजी का उपयोग किया जाता है! 
(3) इस टोपोलॉजी में किसी एक लिंक के फेल होने पर डाटा को अन्य लिंक के माध्यम से भेजा जा सकता है! 
(4) पॉइंट टू पॉइंट नेटवर्क होने के कारण यहां नेटवर्क की गलती को पहचानना आसान होता है! 

मेश टोपोलॉजी की सीमाएं (Limitations Of Mesh Topology in hindi) – 

(1) सभी कंप्यूटर के बीच केबल का उपयोग होने के कारण इस टोपोलॉजी की कीमत सबसे अधिक होती है! 
(2) बहुत अधिक केवल का उपयोग होने के कारण इस दिन का मेंटेनेंस आसान नहीं होता हैं! 
(3) यह टोपोलॉजी केवल सीमित संख्या में उपयोग में लाए गए कंप्यूटर के लिए उपयुक्त होती है! 
(4) इस टोपोलॉजी को क्षेत्र के अनुसार विस्तृत नहीं किया जा सकता है! 

ट्री टोपोलॉजी क्या है (Tree Network Topology In Hindi ) – 

कंप्यूटर नेटवर्क को विस्तृत क्षेत्र में लागू करना हो, तब ट्री टोपोलॉजी ही उपयोग में लाई जा सकती है! यह मुख्यता टोपोलॉजी एक से अधिक टोपोलॉजी का संग्रह होती है! जिसमें अलग-अलग नेटवर्क को किसी मुख्य नेटवर्क से जोड़ा जा सकता है! इस टोपोलॉजी में अधिकतम स्टार टोपोलॉजी का ही उपयोग किया जाता है! 

इस टोपोलॉजी को बनाने के लिए एक मुख्य नेटवर्क बनाया जाता है, जिसे होस्ट नेटवर्क कहते हैं! इस नेटवर्क के हब से अन्य नेटवर्क होस्ट हब को कनेक्शन दिया जाते है इस प्रकार नेटवर्क में मुख्य हब से सभी चाइल्ड हब का कनेक्शन दिया जाते है!  ट्री टोपोलॉजी का सबसे अधिक उपयोग किसी शहर में टीवी केबल नेटवर्क के लिए किया जाता है! 

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

दोनों टर्मिनेटेड पॉइंट के बीच बनाई गई बस में T कनेक्टर की सहायता से बस के दोनों और कंप्यूटर को कनेक्ट किया जाता है! जिस प्रकार पाइपलाइन व्यवस्था के अंतर्गत कनेक्शन बनाए जाते हैं! उसी प्रकार बस टोपोलॉजी में भी कंप्यूटर्स को जोड़ा जाता है! बस टोपोलॉजी में डाटा को ट्रांसफर करने के लिए प्रोग्राम की सहायता से एक टोकन मूव करवाई जाती है जो डाटा ट्रांसफर की आवश्यकता होने पर किसी भी कंप्यूटर के द्वारा उपयोग में लाई जा सकती है! (Network Topology)

ट्री टोपोलॉजी की विशेषताएं (Quality Of Tree Topology in hindi) – 

(1) ट्री टोपोलॉजी में मुख्य हब से सभी कनेक्शन के लिए अन्य हब को जोड़ा जा सकता है, जिसके कारण बहुत अधिक संख्या में कनेक्शन बनाए जा सकते हैं! 
(2) ट्री टोपोलॉजी में बनाए जाने वाले कनेक्शन की प्राथमिकता निर्धारित की जा सकती है! 

ट्री टोपोलॉजी की सीमाएं (Limitations Of Tree Topology in hindi) – 

(1) इस टोपोलॉजी का नेटवर्क मुख्य हब निर्भर रहता है, यदि किसी कारण से यह काम करना बंद कर देता है, तो संपूर्ण नेटवर्क बंद हो जाता है! 
(2) ट्री टोपोलॉजी में मुख्य आपसे आवश्यकता से अधिक ब्रांचेस बनाने पर नेटवर्क स्पीड कम हो जाती है! 

आपने इस आर्टिकल में (Network topology) के बारे में जाना

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3 thoughts on “नेटवर्क टोपोलॉजी क्या है? (Network Topology) नेटवर्क टोपोलॉजी के प्रकार, विशेषताएं, सीमाएँ”

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